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November 25, 2024

Budh Ast 2024
NATIONAL

Budh Ast 2024: इन 4 राशियों पर पड़ेगा बुध का भारी प्रभाव, आर्थिक संकट के हो सकते हैं संकेत, रहें सतर्क!

Budh Ast 2024: वैदिक ज्योतिष शास्त्र के अनुसार ग्रह-नक्षत्रों की चाल का हमारे जीवन पर गहरा प्रभाव पड़ता है, और बुध ग्रह का गोचर वक्री अवस्था में होने से विशेष महत्व रखता है। 26 नवंबर को बुध ग्रह वृश्चिक राशि में वक्री होंगे, और 29 नवंबर को यही ग्रह अस्त हो जाएंगे, जो 12 दिसंबर तक इसी अवस्था में रहेंगे। इस दौरान कुछ राशियों पर बुध का असर आर्थिक संकट ला सकता है। इन राशियों के जातकों को सतर्क रहने की सलाह दी जाती है, क्योंकि इस समय आर्थिक फैसले सोच-समझकर लेना जरूरी होगा। बुध के इस गोचर का प्रभाव उन राशियों पर विशेष रूप से पड़ेगा, जिनकी आर्थिक स्थिति पर यह ग्रह अधिक प्रभाव डालता है। आइए जानते हैं कौन सी हैं वे राशियां जो इस दौरान विशेष ध्यान रखें। मेष राशि(Aries) बुध ग्रह मेष राशि के अष्टम भाव में अस्त होंगे, जिसके परिणामस्वरूप इस राशि के जातकों को आर्थिक दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है। फिजुलखर्ची से बचना जरूरी है, क्योंकि यह परेशानियों का कारण बन सकती है। किसी भी बड़े निर्णय को सोच-समझकर लें और ऑफिस में राजनीति से दूर रहें। माता-पिता की सेहत का ध्यान रखें और भावनाओं पर काबू रखें। इस समय रुपए पैसे के लेन-देन में विशेष सावधानी बरतें, ताकि किसी प्रकार का नुकसान न हो। मिथुन राशि(gemini) बुध के अस्त होने के बाद मिथुन राशि के जातकों की तार्किक क्षमता पर असर पड़ सकता है, जिससे आप अपनी बातों को सही तरीके से व्यक्त नहीं कर पाएंगे। इस दौरान आपको कम बोलकर ज्यादा सुनने की सलाह दी जाती है। नौकरी और पैसों के मामले में इस समय आमदनी पर विपरीत असर पड़ सकता है, और कुछ लोगों के अतिरिक्त आमदनी के स्रोत भी रुक सकते हैं। इसके अलावा, घर के किसी सदस्य की तबीयत बिगड़ सकती है, जिससे आपको अनचाहा धन खर्च करना पड़ सकता है। कर्क राशि(Cancer zodiac sign) बुध के अस्त होने के बाद कर्क राशि के जातकों की एकाग्रता में कमी आ सकती है, और आप जॉब बदलने के बारे में सोच सकते हैं। इस समय काम पर ध्यान केंद्रित करना मुश्किल हो सकता है, लेकिन जल्दबाजी में कोई बड़ा फैसला न लें। धन की स्थिति में भी उतार-चढ़ाव हो सकता है, और आपका पैसा ऐसी जगहों पर खर्च हो सकता है जहां से कोई फायदा न हो। इस दौरान आर्थिक रूप से आप खुद को कमजोर महसूस कर सकते हैं, इसलिए सही बजट प्लान बनाकर आगे बढ़ना जरूरी होगा। मकर राशि(Capricorn) मकर राशि के जातकों के लिए बुध का यह परिवर्तन शुभ नहीं रहेगा। बुध के वृश्चिक राशि में अस्त होने से आपको सतर्क रहने की आवश्यकता है। इस दौरान खर्चों में बढ़ोतरी हो सकती है, और उधारी देने से बचना चाहिए, क्योंकि पैसा डूबने का खतरा हो सकता है। छोटी-छोटी बीमारियों से भी परेशानी हो सकती है, इसलिए अपनी सेहत का ध्यान रखें। साथ ही, वाद-विवाद से दूर रहना भी इस समय उचित रहेगा।

Indian Law
NATIONAL

Indian Law: क्या पिता की प्रॉपर्टी में बेटियां भी ले सकती हैं हिस्सा? जानिए क्या है कानून का कहना

Indian Law:आप सभी यह तो जानते ही होंगे की हमारे समाज में यह परंपरा रही है कि पिता की सारी प्रॉपर्टी का हकदार केवल बेटा होता है, जबकि बेटियों को इससे वंचित किया जाता है. हालांकि, आज भी यह परंपरा कहीं न कहीं बनी हुई है, जहां पिता की सम्पत्ति बेटों(Father’ Property sons) के पास जाती है और बेटियों को उसका कोई हिस्सा नहीं मिलता. लेकिन क्या कानून में सचमुच ऐसा है कि पिता की संपत्ति पर सिर्फ बेटों का ही अधिकार होता है? भारतीय कानून में बेटियों को भी समान अधिकार मिले हैं. 2005 में भारतीय नागरिक संहिता (Indian Civil Code)में संशोधन किया गया, जिसके बाद बेटियों को भी पिता की प्रॉपर्टी में बराबरी का अधिकार मिल गया है. अब बेटियां भी अपने पिता की संपत्ति में हिस्सा पाने की हकदार हैं, बशर्ते वे वैध तरीके से इसका दावा करें. पापा की प्रॉपर्टी पर बेटियों के लिए लॉ भारतीय संविधान के तहत हिंदू उत्तराधिकार (संशोधन) अधिनियम 2005 में बेटियों को पिता की प्रॉपर्टी पर बराबरी का अधिकार दिया गया है. इसके मुताबिक, अब पिता की संपत्ति में बेटियों का भी उतना ही हक है, जितना बेटों का होता है. यह अधिकार बेटी की वैवाहिक( Daughter’s marriage)स्थिति से स्वतंत्र है, यानी शादीशुदा या कुंवारी दोनों ही स्थितियों में बेटियां अपने पिता की संपत्ति पर हिस्सेदारी का दावा कर सकती हैं. अगर किसी व्यक्ति के पास एक बेटा और एक बेटी है, तो बेटी भी अपने भाई के बराबर आधी संपत्ति की हकदार होगी. इस कानून से महिलाओं को समान अधिकार मिलते हैं और यह पारंपरिक धारा को बदलते हुए उन्हें आर्थिक रूप से सशक्त बनाने का एक कदम है. हालांकि भारतीय कानून के तहत बेटियों को पिता की प्रॉपर्टी में बराबरी का अधिकार है, लेकिन कुछ स्थितियां ऐसी हैं, जहां बेटियां अपनी प्रॉपर्टी पर दावा नहीं कर सकतीं. अगर किसी पिता ने अपनी वसीयत में सिर्फ बेटे का नाम शामिल किया है और बेटी का नाम नहीं लिया, तो ऐसी स्थिति में बेटियां अपने पिता की संपत्ति पर दावा नहीं कर सकतीं. इसका मतलब यह है कि पिता की इच्छाओं और वसीयत के अनुसार संपत्ति का वितरण किया जाएगा, और यदि वह बेटी को नामांकित नहीं करते हैं, तो बेटी को संपत्ति का हिस्सा नहीं मिल सकेगा, भले ही कानून में उसे अधिकार प्राप्त हो.

PNG Gas Price
NATIONAL

PNG Gas Price: इस शहर में PNG गैस के बढ़े दाम, जानें 1Kg की नई कीमत!

PNG Gas Price: मुंबई और उसके आसपास के इलाकों में आज से पाइपलाइन के माध्यम से सप्लाई की जा रही रसोई गैस की कीमतों में वृद्धि हो गई है, जिससे किचन में खाना पकाना महंगा हो गया है. महानगर गैस लिमिटेड, जो शहर में पाइप्ड नेचुरल गैस (PNG) की सप्लाई करती है, ने शुक्रवार से पीएनजी की कीमतों में 2 रुपये प्रति किलोग्राम का इजाफा कर दिया है. इस बढ़ोतरी के बाद, मुंबईवासियों को अब पहले से ज्यादा खर्च करना होगा, जिससे घरेलू बजट पर दबाव पड़ सकता है. यह बढ़ोतरी गैस उपयोगकर्ताओं के लिए एक महत्वपूर्ण चिंता का विषय बन गई है, खासकर उन परिवारों के लिए जिनका अधिकांश खर्च रसोई गैस पर निर्भर करता है.   इतनी हुई कीमत   शुक्रवार को हुए दामों की बढ़ोतरी के बाद मुंबई में एक किलोग्राम PNG की कीमत अब 77 रुपये तक पहुंच गई है. यह वृद्धि ऐसे समय में हुई है जब हाल ही में महाराष्ट्र और झारखंड में चुनावों के बाद जनता पहले ही महंगाई से परेशान है. पीएनजी की कीमतों में यह बढ़ोतरी कंपनी द्वारा लागत कम करने के उद्देश्य से की गई बताई जा रही है, लेकिन इसके बाद आम लोगों के लिए रसोई गैस की कीमत और भी बढ़ गई है. इससे न केवल गृहिणियों को परेशानी हो रही है, बल्कि इससे जुड़े अन्य घरेलू खर्चों पर भी असर पड़ सकता है. इस कीमत में वृद्धि से मुंबईवासियों के घरेलू बजट पर और अधिक दबाव बन गया है. अक्टूबर में भी गैस की कीमतों में कटौती की गई थी, जब केंद्र सरकार ने एमजीएल के घरेलू एपीएम गैस आवंटन में कमी की थी. इस फैसले पर CGD (सिटी गैस डिस्ट्रिब्यूशन) खिलाड़ियों ने प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा था कि इससे उनकी प्रॉफिटेबिलिटी पर असर पड़ेगा. अब नवंबर में गैस आवंटन में एक और कटौती की गई है, जिससे स्पॉट या आयातित एलएनजी जैसे महंगे विकल्पों पर निर्भरता बढ़ गई है. इस बदलाव से कंपनियों के मुनाफे पर दबाव पड़ेगा और ग्राहकों को भी संभावित मूल्य वृद्धि का सामना करना पड़ सकता है. पीएनजी या पाइप्ड नेचुरल गैस, प्राकृतिक गैस का एक रूप है जिसे भूमिगत पाइपलाइनों के माध्यम से सीधे आवासीय, वाणिज्यिक और औद्योगिक उपभोक्ताओं तक पहुंचाया जाता है. यह एक स्वच्छ-जलने वाला ईंधन है, जो मुख्य रूप से मीथेन से बना होता है. इसे पारंपरिक ईंधनों के मुकाबले अधिक पर्यावरण के अनुकूल विकल्प माना जाता है, क्योंकि यह कम प्रदूषण उत्पन्न करता है. लेकिन, अब बढ़ती कीमतों और लागत में वृद्धि के कारण, यह स्वच्छ ऊर्जा विकल्प भी लोगों के लिए महंगा हो सकता है, जो खासकर घरेलू उपभोक्ताओं के लिए चिंता का विषय है.

KP Sharma Oli
POLITICS

KP Sharma Oli: नेपाली प्रधानमंत्री की चाइना की यात्रा से भारत के साथ बढ़ेगा तनाव , पूर्व में भी हो चुका हैं ऐसा

KP Sharma Oli: नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली(KP Sharma Oli) इस बार पीएम बनने के बाद फिर अपनी पहली यात्रा पर चीन जा रहे हैं. उन्होंने आगामी 2 दिसंबर से अपनी चीन यात्रा का ऐलान किया है. उनका यह कदम एक बार फिर (PM Modi vs KP Sharma Oli) भारत-नेपाल के बीच तनाव को बढ़ा सकता है.   नेपाल के प्रधानमंत्री के.पी.शर्मा ओली ने शुक्रवार को चीन (Li Qiang)जाने के अपने प्लान का आधिकारिक ऐलान किया है. उन्होंने बीजिंग दौरे से पहले ही यह भी दावा कर दिया है कि उनकी आगामी चीन की आधिकारिक यात्रा काफी सफल रहेगी. बता दें कि प्रधानमंत्री पद का कार्यभार संभालने के बाद किसी पड़ोसी देश की केपी शर्मा ओली की यह पहली यात्रा होगी. पीएम केपी शर्मा ओली का कहना है कि, मैं 2 दिसंबर को चाइना की यात्रा पर जा रहा हूं और यह महज एक दौरा नहीं होगा.’’ उन्होंने कहा कि वह यात्रा के दौरान लोगों और देश के हित को ध्यान में रखेंगे. ओली ने स्पष्ट किया कि वह यात्रा के दौरान चीन से ऋण मांगने की स्थिति में नहीं हैं. उन्होंने कहा, ‘‘उत्पादकता बढ़ाना मेरी प्राथमिकता होगी.’ हालांकि, सरकार ने अभी तक आधिकारिक तौर पर ओली की यात्रा और प्रधानमंत्री के कार्यक्रम की घोषणा नहीं की है. मगर ओली ने स्वयं अपनी यात्रा के बारे में सब कुछ बता दिया है. वह दोबारा नेपाल की परंपरा को तोड़कर चीन पहुंचेंगे. क्योंकि आमतौर पर नेपाल का प्रधानमंत्री सबसे पहले भारत की यात्रा करता रहा है. मगर केपी ओली ने अपने पहले कार्यकाल के दौरान भी इस परंपरा को तोड़कर चाइना की यात्रा की थी. वही कुछ महीनों पहले पुष्प कमल दहल(Pushpa Kamal Dahal) प्रचंड की सरकार गिरने के बाद फिर से केपी शर्मा ओली प्रधानमंत्री बन गए हैं. केपी शर्मा ओली ने अपनी पूर्व की सरकार में चीन की यात्रा किया था तो बढ़ा था भारत-नेपाल में तनाव   केपी शर्मा ओली ने अपने पहले कार्यकाल में भी सबसे पहले चीन की यात्रा की थी. वह चीन की कम्यूनिस्ट पार्टी के समर्थक हैं. लिहाजा उन्होंने परंपरा को तोड़कर चीन की यात्रा की थी. वहां से लौटने के बाद नेपाल ने भारत के कालापानी, लिपुलेख और लिंपियाधुरा पर अपना दावा ठोक दिया था. इससे भारत-नेपाल के रिश्ते काफी तनावपूर्ण हो गए थे. अब एक बार फिर वह चीन की यात्रा पर जा रहे हैं. ऐसे में भारत-नेपाल के संबंधों में खटास आना तय माना जा रहा है. वजह यह भी है कि KP शर्मा ओली चाइना के इशारे पर इंडिया के खिलाफ काम भी करते हैं.

Navjot Kaur cancer treatment
POLITICS

Navjot Kaur cancer treatment: नवजोत सिंह सिद्धू ने बताए कैंसर से बचने के कारगर तरीके

Navjot Kaur cancer treatment: हाल ही में कैंसर से लड़ रही पंजाब कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू की पत्नी नवजोत कौर ने अपनी जंग जीत ली है. इसकी घोषणा सिद्धू दम्पत्ति ने गुरुवार को की. नवजोत कौर का टेस्ट कराया गया जिसमें उनका कैंसर पूरी तरह से खत्म दिखाया गया. मिली जानकारी के अनुसार नवजोत सिंह सिद्धू ने बताया कि उनकी पत्नी को स्टेज 4 कैंसर था.   किस तरह का था कैंसर   मीडिया में साझा हुई जानकारी के अनुसार नवजोत कौर सिद्धू को स्टेज 4 इनवेसिव कैंसर था जिसके प्रभाव को कम करने के लिए उन्हें रेयरेस्ट मेटास्टेसी नाम की ब्रेस्ट सर्जरी भी करवानी पड़ी थी. वो 1 साल से इस बीमारी से पीड़ित थी मगर उन्होंने हिम्मत नहीं छोड़ी व लगातार इसके ठीक करने की कोशिश करती रही. नवजोत कौर ने ये भी बताया कि उन्हें अपने बचने की उम्मीद काफी कम लग रही थी मगर फिर भी उन्होंने डट कर इसका मुकाबला किया और कैंसर के विरुद्ध जीत हासिल की. कैसे दी कैंसर को मात   रिपोर्ट्स और मीडिया स्टेटमेंट्स के मुताबिक नवजोत कौर का इलाज पटियाला के सरकारी अस्पताल में चल रहा था. इसके साथ ही उन्होंने अपने खान पान और लाइफस्टाइल को काफी हद तक बदल कर इसे कंट्रोल किया. रिकवरी के दौरान सिद्धू और उनकी पत्नी ने देसी तरीकों को अपनाया जैसे कि नींबू पानी,एप्पल सिंडर विनेगर,कच्ची हल्दी,नीम के पत्ते ,और तुलसी. जिससे उन्हें चमत्कारी असर देखने को मिला. इस दौरान उन्होंने चुकंदर,अखरोट, आंवला, अनार,और विटामिन सी से भरपूर आहार लिया . साथ ही खाना पकाने के लिए उन्होंने कोल्ड प्रेस्ड तेल जिसमें नारियल, मूंगफली, बादाम का तेल शामिल है उपयोग किया. साथ ही इलायची,दालचीनी व गुड वाली चाय का सेवन किया. नवजोत सिंह सिद्धू ने लाइफस्टाइल और फास्टिंग को बेहद असरदार बताया उन्हों कहा कि कैंसर पीड़ित व्यक्ति कम मीठा और कार्बोहाइड्रेट का सेवन करे तो कैंसर सेल्स अपने आप मारने लगती है . लगभग 14 घंटे की फास्टिंग भी इसमें असरदार है,साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि नीम के पत्ते चबा कर खाएं न कि सिर्फ कैंसर से पीड़ित नवजोत कौर ने इस लाइफस्टाइल को एडॉप्ट किया बल्कि यहां भी नवजोत सिंह सिद्धू ने उनका साथ देते हुए इसे अपनाया और अपना 25 किलो वजन कम कर लिया

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