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December 6, 2024

Bajaj Freedom 125 Price Cut
AUTO

Bajaj Freedom 125 Price Cut:10 हजार रुपए तक सस्ती हुई बजाज की बाइक, जानिए कितना है सच

Bajaj Freedom 125 Price Cut: दुनिया की पहली सीएनजी मोटरसाइकिल बनने वाली कंपनी बजाज ने अपनी फ्रीडम 125 को जब लॉन्च किया था तब ये बाइक मार्किट में छा गई थी. इस समय इस बाइक के तीन वेरिएंट बाजार में है. अभी हाल में ही एक खबर सामने आई थी कि बजाज कंपनी ने अपनी फ्रीडम 125 और पल्सर के दामों में कमी हुई है. जब इसकी सच्चाई जानी गई तो ऑटोमेकर्स ने इस खबर के बारे में बताया कि यह मिस लीडिंग है. एक ब्रोकरेज फर्म के द्वारा यह जानकारी दी गई है।जो कि गलत है. बजाज ऑटो कंपनी ने नहीं घटाई है अपनी कीमत बजाज ऑटो के द्वारा जानकारी दी गई कि बाइक की कीमत कम करने की बात जो कि जा रही है वह सही नहीं है. कंपनी ने माह अक्टूबर में लॉन्च की गई देश दुनिया की पहली सीएनजी बाइक या अपनी किसी भी बाइक की कीमतों में कोई परिवर्तन नहीं किया है. फ्रीडम 125 बाइक के मॉडलों की कीमत बजाज ऑटो ने आधिकारिक जानकारी देते हुए बताया कि एक लाख दस हजार रुपए है सीएनजी बाइक की कीमत।वही बताया गया कि मोटरसाइकिल की कीमत से लेकर फीचर्स में कोई बदलाव नहीं किया गया है. इस वेरिएंट की सेल सीएनजी बाइक की सेल का 72 फीसदी है।बजाज फ्रीडम 125 के बेस वेरिएंट की भी 13 फीसदी की सेल हुई है. बजाज कंपनी ने एंट्री लेवल वेरिएंट की कीमत में अक्टूबर 2024 में कुछ परिवर्तन किया था. पहले इस मॉडल की कीमत 95 रुपये थी परिवर्तन के बाद 90 हजार रुपये हो गई थी.  इस वेरिएंट की कीमत में कटौती की वजह ज्यादा से ज्यादा कस्टमर्स को आकर्षित करने की थी. देश की पहली सीएनजी बाइक के मिड वेरिएंट की सेल 15 फीसदी तक हुई है. इस समय मार्केट में इस वेरिएंट की कीमत 95 हजार रुपये है. बजाज फ्रीडम 125 के बारे में जाने देश दुनिया की पहली सीएनजी बाइक बजाज फ्रीडम 125 में 4-स्ट्रोक,एयर-कूल्ड इंजन लगा हुआ है. मोटरसकिल में लगे इस इंजन से 8,000 rpm पर 9.5 PS की पावर मिलती है और 5,000 rpm पर 9.7 Nm का टॉर्क जनरेट होता है. यह मोटरसाईकिल एक बार में 2 किलोग्राम तक सीएनजी भरवाई जा सकती है. जिससे ये मोटरसाइकिल एक बार में 200 किलोमीटर तक की दूरी तय करने का दावा करती है बजाज की इस बाइक को जरूरत पड़ने पर पेट्रोल मोड में भी चलाया जा सकता है। इस मोटरसाइकिल में दो लीटर तक पेट्रोल भरवाने की कैपेसिटी है। ये बाइक पेट्रोल मोड में 130 किलोमीटर तक जा सकती है। बजाज फ्रीडम 125 की एक्स-शोरूम प्राइस 89,997 रुपये से शुरू है।

Champions Trophy 2025
SPORTS

Champions Trophy 2025: खत्म हुआ सस्पेंस, चैंपियंस ट्रॉफी 2025 हाइब्रिड मॉडल में आयोजित की जाएगी, आईसीसी ने लगाई मोहर

Champions Trophy 2025: अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (ICC) ने गुरुवार को 2025 चैंपियंस ट्रॉफी को हाइब्रिड मॉडल में आयोजित करने पर सहमति जताई, जिसमें भारत अपने सभी मैच दुबई में खेलेगा. इस बीच, भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड ( BCCI ) ने भी 2027 तक भारत में आयोजित होने वाले सभी ICC टूर्नामेंटों के लिए हाइब्रिड मॉडल का पालन करने की पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (PCB) की मांग को स्वीकार कर लिया. समाचार एजेंसी पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, आईसीसी के नए अध्यक्ष जय शाह ने गुरुवार को दुबई स्थित मुख्यालय में पाकिस्तान सहित बोर्ड के सदस्यों के साथ एक अनौपचारिक बैठक की, जिसके बाद इस निर्णय को अंतिम रूप दिया गया। आईसीसी ने बताया कि सभी पक्षों ने अपनी सहमति जताते हुए कहा कि चैंपियंस ट्रॉफी 2025 में पाकिस्तान और यूएई में ही होगी। जिसमें भारत अपने मैच दुबई में खेलेगा। पिछले हफ़्ते, महीनों तक चले विवाद और बहिष्कार की धमकी वापस लेने के बाद, पीसीबी, जिसने कथित तौर पर अपने मेज़बानी अधिकार खोने की धमकी दी थी, आखिरकार चैंपियंस ट्रॉफी के लिए हाइब्रिड मॉडल अपनाने की BCCI और ICC की मांग पर सहमत हो गया। पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के प्रमुख मोहसिन नकवी ने आईसीसी की बैठक में मांग रखी थी । बदले में, पीसीबी ने मांग की कि 2031 तक भारत में खेले जाने वाले सभी आईसीसी टूर्नामेंटों के दौरान इसी तरह के नियम का पालन किया जाए। हालांकि, आईसीसी ने 2027 तक अपने सभी आयोजनों के लिए हाइब्रिड मॉडल पर सहमति व्यक्त की है। इस दौरान भारत दो ICC टूर्नामेंट की मेज़बानी करेगा। वे 2026 में श्रीलंका के साथ T20 विश्व कप की सह-मेज़बानी करेंगे, जिसका मतलब है कि पाकिस्तान अपने सभी मैच इस द्वीपीय देश में खेलेगा। वे 2025 में महिला विश्व कप की मेज़बानी भी करेंगे, इसलिए पाकिस्तान की क्रिकेट टीम को अपने सभी मैचों के लिए किसी तटस्थ देश की यात्रा करनी होगी।सूत्र ने कहा, “2026 पुरुष टी-20 विश्व कप के दौरान पाकिस्तान अपने मैच श्रीलंका में खेलेगा। चैंपियंस ट्रॉफी हाइब्रिड मॉडल के लिए पीसीबी द्वारा मांगे गए मुआवजे पर अभी भी विचार किया जा रहा है।

Who Funds Indian Ambassadors Salaries
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Who Funds Indian Ambassadors Salaries: भारतीय राजदूतों की सैलरी कौन देता है? जानें वेतन तय होने का तरीका

Who Funds Indian Ambassadors Salaries: भारतीय राजदूत(Indian Ambassador), जो विभिन्न देशों में भारत का प्रतिनिधित्व करते हैं, अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हमारे देश की नीतियों और संबंधों को मजबूत बनाने में अहम भूमिका निभाते हैं. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि इन राजदूतों की सैलरी कौन देता है और इसे तय करने का आधार क्या होता है? भारतीय राजदूतों को उनकी सैलरी भारत सरकार द्वारा दी जाती है, जो केंद्रीय बजट के तहत आवंटित की जाती है. आपको बता दे यह वेतन भारत सरकार के विदेश मंत्रालय के माध्यम से तय होता है और इसमें विभिन्न भत्ते शामिल होते हैं, जैसे कि रहने, यात्रा, और अन्य सुविधाएं. राजदूतों का वेतन उनकी पदस्थापना के स्थान, जिम्मेदारियों, और उस देश के जीवनयापन की लागत को ध्यान में रखकर निर्धारित किया जाता है. इन नीतियों का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि राजदूत भारत के हितों की प्रभावी रूप से रक्षा और प्रचार कर सकें. क्या-क्या मिलती हैं सुविधाएं? भारतीय राजदूतों को न केवल प्रतिष्ठित पद प्राप्त होता है, बल्कि उनके लिए कई सुविधाएं भी सुनिश्चित की जाती हैं. विदेश में तैनात राजदूतों को भारत के विदेश मंत्रालय से वेतन मिलता है, जिसमें मूल वेतन के साथ-साथ आकर्षक विदेशी भत्ता भी शामिल होता है. यह भत्ता महंगाई भत्ते की तुलना में कई गुना अधिक होता है, जो उनके जीवनयापन और कार्यक्षमता को बेहतर बनाता है. इसके अतिरिक्त, उन्हें मुफ्त आवास(Free Accommodation) की सुविधा भी दी जाती है, जो अक्सर भव्य और उनके पद की गरिमा के अनुकूल होता है. राजदूतों का औसत वेतन 1,00,000 से 2,00,000 रुपये प्रति माह के बीच होता है. वहीं, भारत में काम करने वाले राजदूतों का औसत वेतन 25,143 रुपये प्रति माह तक हो सकता है. कुल मिलाकर, राजदूतों को उनकी जिम्मेदारियों और पद की महत्वता को ध्यान में रखते हुए पर्याप्त सुविधाएं दी जाती हैं, जिससे वे देश का प्रभावी प्रतिनिधित्व कर सकें. राजदूत अपने देश का विदेशों में प्रतिनिधित्व करने वाले सबसे उच्चस्तरीय राजनयिक होते हैं, जिनका मुख्य काम अपने देश के हितों की रक्षा और प्रचार करना होता है. वे मेजबान देश की सरकार के साथ संवाद स्थापित करके दोनों देशों के बीच संबंधों को मजबूत बनाते हैं. इसके तहत राजनीतिक, आर्थिक, सांस्कृतिक, और व्यापारिक मुद्दों पर बातचीत शामिल होती है. राजदूत न केवल अपने देश की नीतियों को मेजबान देश में प्रभावी ढंग से प्रस्तुत करते हैं, बल्कि दोनों देशों के बीच आपसी सहयोग और समझ को बढ़ावा देने के लिए भी काम करते हैं. साथ ही, वे अपने नागरिकों की सुरक्षा और कल्याण सुनिश्चित करने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं. अंतरराष्ट्रीय विवादों(international disputes)  को हल करने, सांस्कृतिक आदान-प्रदान को प्रोत्साहित करने और द्विपक्षीय समझौतों पर बातचीत करने में राजदूतों का योगदान बेहद अहम होता है. उनकी भूमिका उनके देश की वैश्विक स्थिति को मजबूत बनाने में मदद करती है.

Rashmika Mandanna watches Pushpa 2
ENTERTAINMENT

Rashmika Mandanna watches Pushpa 2: बॉयफ्रेंड और फैमिली के साथ ‘Pushpa 2’ देखने पहुंचीं रश्मिका मंदाना

Rashmika Mandanna watches Pushpa 2: रश्मिका मंदाना(Rashmika Mandanna) और अल्लू अर्जुन की बहुप्रतीक्षित फिल्म पुष्पा 2: द रूल(Pushpa 2) आखिरकार सिनेमाघरों में रिलीज हो गई है, और दर्शकों में इसे लेकर जबरदस्त उत्साह देखा जा रहा है. फिल्म के पहले दिन ही भारी संख्या में लोग थिएटर में उमड़ पड़े. इस बीच रश्मिका मंदाना भी अपनी फिल्म का अनुभव लेने के लिए सिनेमाघर पहुंचीं, लेकिन खास बात यह रही कि वह अपने रूमर्ड बॉयफ्रेंड विजय देवरकोंडा(Vijay Deverakonda) और उनकी फैमिली के साथ नजर आईं. आपको बता दे की थिएटर के बाहर रश्मिका और विजय की नजदीकियों ने सबका ध्यान खींचा और उनके रिश्ते की अफवाहों को और बल दिया. फैंस इस जोड़ी को लेकर काफी उत्साहित हैं और उनकी मौजूदगी ने फिल्म के प्रति दर्शकों की दिलचस्पी को और बढ़ा दिया. रश्मिका और विजय की इस बॉन्डिंग ने न केवल फैंस का दिल जीता, बल्कि पुष्पा 2 (Pushpa 2) की सफलता के साथ इस पल को और भी यादगार बना दिया. बॉयफ्रेंड संग दिखी रश्मिका मंदाना रश्मिका मंदाना और विजय देवरकोंडा की डेटिंग की खबरें फिर से सुर्खियों में हैं, और इस बार वजह है रश्मिका का विजय की फैमिली के साथ फिल्म पुष्पा 2: द रूल(Pushpa 2) देखना. गुरुवार रात सोशल मीडिया पर एक तस्वीर वायरल हुई, जिसमें रश्मिका हैदराबाद के एक थिएटर(Rashmika Mandanna watches Pushpa 2) में नजर आ रही थीं. उनके साथ विजय देवरकोंडा की मां माधवी और भाई आनंद देवरकोंडा भी मौजूद थे. हालांकि, विजय खुद इस तस्वीर में नहीं दिखे, लेकिन उनकी फैमिली के साथ रश्मिका की मौजूदगी ने फैंस के बीच उनके रिश्ते को लेकर चर्चा तेज कर दी है. Rashmika & Vijay Deverakonda‘s family spotted watching #Pushpa2TheRule in AMB…🌝💘#RashmikaMandanna #VijayDevarakonda pic.twitter.com/prGbMbHn7T — Rashmika Lover’s❤️‍🩹 (@Rashuu_lovers) December 5, 2024 नेटिज़न्स को यकीन है कि दोनों के बीच कुछ खास चल रहा है. गौरतलब है कि रश्मिका और विजय की डेटिंग की अफवाहें लंबे समय से चर्चा में हैं, लेकिन दोनों ही सितारों ने अब तक न तो अपने रिश्ते को स्वीकार किया है और न ही इससे इनकार. उनकी इस बॉन्डिंग ने फैंस को और भी उत्साहित कर दिया है. रश्मिका मंदाना  इन दिनों अपने वर्क फ्रंट को लेकर काफी व्यस्त हैं. हाल ही में रिलीज हुई उनकी फिल्म पुष्पा 2: द रूल में उन्होंने श्रीवल्ली के लोकप्रिय किरदार में वापसी की है. इस फिल्म में अल्लू अर्जुन भी पुष्पाराज के दमदार रोल में नजर आ रहे हैं, और फिल्म को दर्शकों से जबरदस्त प्रतिक्रिया मिल रही है. पुष्पा 2 की सफलता ने रश्मिका के करियर ग्राफ को और ऊंचा कर दिया है. इसके बाद रश्मिका विक्की कौशल के साथ फिल्म छावा में नजर आएंगी, जो फैंस के बीच अभी से चर्चा में है. इसके अलावा, उनके पास कुबेरा, द गर्लफ्रें, सिकंदर, और थामा जैसे कई बड़े प्रोजेक्ट्स हैं, जो उनके वर्सेटाइल अभिनय को एक नया मुकाम देंगे. लगातार बड़े प्रोजेक्ट्स में काम करते हुए रश्मिका ने अपनी प्रतिभा का परचम लहराया है और वे साउथ से लेकर बॉलीवुड तक एक पावरफुल स्टार बनकर उभरी हैं.

Vivah Panchami 2024
NATIONAL

Vivah Panchami 2024: सीता जी का मायका कहलाता है अयोध्या का ये गांव, जाने विवाह पंचमी की पूरी जानकारी

Vivah Panchami 2024: भगवान श्री राम और माता सीता का विवाह पंचमी तिथि के दिन हुआ था. सीता जी के मायके के बारे में बहुत कम लोग जानते हैं जो अयोध्या के जनौरा गांव में है. मार्गशीर्ष अगहन महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी (Vivah Panchami 2024) तिथि को पर्व मनाया जाता है. आज 6 दिसंबर 2024 को यह तिथि पढ़ रही है. यह दिन भगवान राम और माता सीता की वर्षगांठ कहलाती है. कहां है सीता जी का मायका यह तो सभी लोग जानते हैं की माता सीता का विवाह अयोध्या के राजकुमार श्री राम से हुआ था. सीता जी के पिता राजा जनक जनकपुर के रहने वाले थे. जनकपुर की बात करें तो इसका आधा हिस्सा बिहार और कुछ हिस्सा नेपाल का है इन दोनों ही जगह को सीता जी का मायका माना जाता है. अयोध्या में ही है पीहर और ससुराल यह जानने के बाद हर किसी को हैरानी होगी की माता सीता का मायका बिहार और नेपाली नहीं बल्कि अयोध्या में भी है. अयोध्या (Ayodhya) की नगरी माता सीता का ससुराल है. अयोध्या में एक गांव मौजूद है जनौरा(Janaura) गांव इसे लेकर यह बताया जाता है कि इस जगह को राजा जनक ने बसाया था. इस गांव में राजा जनक ने महल बनाया जहां शिवजी का मंदिर भी है. राजा जनक ने खरीदा भूखंड सीता जी का विवाह अयोध्या में कर दिया गया था और इसके 15 दिन बाद कुलगुरु ने सीता को कलेवा भिजवाने की सलाह राजा जनक को दी थी. इसके बाद राजा जनक अयोध्या गए. अब राजा जनक को यह चिंता थी कि जब वह अयोध्या जाएंगे तो क्या कहेंगे और कहां रुकेंगे. सनातन धर्म में ऐसी मान्यता है कि पिता बेटी के ससुराल का जल ग्रहण नहीं करते हैं. यही वजह थी कि राजा जनक ने अयोध्या में एक भूखंड खरीदा जिसे जानौरा गांव के नाम से जाना जाता है. बेटी के लिए कलेवा लेकर पहुंचे पिता राजा जनक ने जनौर गांव में एक बड़ा सा गांव बसाया. इस तरह से राजा जनक बेटी सीता के लिए कलेवा लेकर पहुंचे और इसी गांव में ठहरे हुए थे। रामायण की एक कथा में भी इसका वर्णन किया गया है. इसके बाद जब भी राजा जनक अयोध्या आते तो जानौर गांव में ही ठहरते थे.

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